इंस्टीट्यूट ऑफ न्यूरो साइंसेज एंड ऑप्थेलमोलॉजी राजस्थान बनेगा तक़रीबन 300 करोड़ स्वीकृत 

उच्च गुणवत्ता वाले स्वास्थ्य सेवाओं की प्रदान के लिए राजस्थान सरकार ने एक महत्वपूर्ण कदम उठाया है। सवाई मानसिंह चिकित्सा महाविद्यालय में न्यूरो साइंसेज और ऑप्थेलमोलॉजी के इंस्टीट्यूट की स्थापना की जाएगी। 

इस प्रस्ताव के लिए राजस्थान मुख्यमंत्री द्वारा 293.79 करोड़ रुपये की मंजूरी प्रदान कर दी गई है।

इंस्टीट्यूट ऑफ न्यूरो साइंसेज एंड ऑप्थेलमोलॉजी राजस्थान बनेगा तक़रीबन 300 करोड़ स्वीकृत Rajasthan institute of neuroscience and ophthalmology

इंस्टीट्यूट के भवन का निर्माण:

  • इस उद्देश्य को प्राप्त करने के लिए, नया इंस्टीट्यूट चिकित्सालय के पास स्थित नर्सिंग हॉस्टल में 3 मंजिले के बेसमेंट पार्किंग के साथ 9 मंजिले का भवन निर्माण किया जाएगा। 
  • इंस्टीट्यूट ऑफ न्यूरो साइंसेज एंड ऑप्थेलमोलॉजी के नवीन भवन में आधुनिक सुविधाएं और तकनीकी उपकरणों का उपयोग करके विद्यार्थियों और व्यावसायिकों को उच्च-स्तरीय शिक्षा और उपयुक्त मानव संसाधन प्रदान की जाएगी।

इंस्टीट्यूट ऑफ न्यूरो साइंसेज एंड ऑप्थेलमोलॉजी प्रगति की उम्मीद:

यह महत्वपूर्ण पहल नई उच्च स्तरीय स्वास्थ्य सेवाएं प्रदान करने के साथ-साथ प्रदेश में मानसिक रोगों और आंखों से संबंधित समस्याओं के इलाज में महत्वपूर्ण योगदान देगी। 

इस नए इंस्टीट्यूट ऑफ न्यूरो साइंसेज एंड ऑप्थेलमोलॉजी की योजना में नवीनतम सुविधाएं और तकनीकी उपकरणों का उपयोग होगा, जिससे प्रदेश को स्वास्थ्य और चिकित्सा क्षेत्र में आगे बढ़ाने में मदद मिलेगी।

संक्षिप्त विवरण:

  • सवाई मानसिंह चिकित्सा महाविद्यालय में न्यूरो साइंसेज और ऑप्थेलमोलॉजी के इंस्टीट्यूट की स्थापना होगी।
  • मुख्यमंत्री द्वारा 293.79 करोड़ रुपये के  वित्तीय प्रस्ताव को मंजूर कर दिया गया है।
  • नये भवन के भीतर आधुनिक सुविधाएं और तकनीकी उपकरण उपयोग किए जाएंगे।
  • इस पहल से प्रदेश में मानसिक रोगों और आंखों से संबंधित समस्याओं के इलाज में सुधार होगा।

यह महत्वपूर्ण कदम प्रदेश के स्वास्थ्य सेवाओं के विकास को गति देगा और नवीनतम चिकित्सा प्रौद्योगिकी का उपयोग करके उच्चतम स्तर की चिकित्सा सुविधाएं प्रदान करेगा। 

राजस्थान सरकार के इस कदम से आगामी पीढ़ियों को मजबूत और स्वस्थ भविष्य की उम्मीद मिलेगी। इस प्रोजेक्ट के सफलतापूर्वक पूर्ण होने से प्रदेश के स्वास्थ्य सेवाओं को नई दिशा मिलेगी और चिकित्सा विज्ञान में नवाचारों की विकास गति बढ़ेगी।

गांधी दर्शन म्यूजियम जयपुर