मुख्यमंत्री बीज स्वावलंबन योजना के माध्यम से राजस्थान सरकार के द्वारा किसानों को उच्च गुणवत्ता का बीज निःशुल्क उपलब्ध करवाया जायेगा, जिससे किसानों को बढ़िया बीजों का उत्पादन करने में सहायता मिलेगी।
राजस्थान राज्य में किसानों द्वारा फसलों के लिए उपयुक्त बीज का उत्पादन करने के लिए इस योजना का शुभारंभ किया गया है।
इस योजना की शुरुआत सबसे पहले पायलट प्रोजेक्ट के रूप में कोटा, उदयपुर और भीलवाड़ा में की गई थी।
राजस्थान सरकार किसानों के कल्याण के लिए बीज के उत्पादन को बढ़ाने मैं उत्कृष्ट कार्य कर रही है। इसके माध्यम से राजस्थान सरकार लगभग 15 करोड़ रुपए के खर्च पर राज्य के लगभग सवा लाख से अधिक किसानों को तकरीबन 34 हजार क्विंटल उच्च कोटि के बीज नि:शुल्क उपलब्ध करवाएगी। जिससे बीज का उत्पादन बढ़कर लगभग 6 लाख क्विंटल तक होगा अनुमानित है।
राज्य सरकार के इस कदम से कृषि के लिए काम में आने वाले उच्च कोटि की गुणवत्ता वाले बीज तथा खेती में वृद्धि होगी।
मुख्यमंत्री बीज स्वावलंबन योजना के उद्देश्य :-
फसल का चुनाव:-
इस योजना के अंतर्गत खरीफ सीजन के लिए ग्वार, मूंगफली, मूंग, मोठ, सोयाबीन एवं उड़द तथा रबी सीजन के लिए गेहूं, चना की फसलों की 10 वर्ष तक काम में आने वाले बीज के उत्पादन का कार्यक्रम किया जाता है।
किसान समूह का गठन:-
इस योजना के माध्यम से खेती में विशेष रूचि रखने वाले तथा प्रगतिशील किसानों का चयन करके एक समूह का गठन किया जाता है प्रत्येक समूह में 30 से 50 किसान होते हैं तथा उन किसानों के द्वारा 50 से 100 हेक्टर में फसल की बुवाई की जाती है।
समूह में बीज उत्पाद करने वाले सदस्य:-
इस योजना में गठित किए गए किसानों के समूह में से 2 से 4 बीज का उत्पाद करने हेतु किसानों का चयन समूह द्वारा ही किया जाता है शेष बचे हुए किसान बुवाई हेतु कार्य करेंगे।
वर्ष 2023 में उपलब्ध किये जाने वाले निशुल्क बीज:-
गठित किए गए किसानों के समूह को नि:शुल्क ज्वार, चना, सोयाबीन, जो, गेहूं, उड़द, मोठ, मूंगफली के बीज उपलब्ध करवाए जाएंगे।
मुख्यमंत्री बीज स्वावलंबन योजना में बीज उत्पादन का प्रशिक्षण:-
इस योजना के अंतर्गत बीज उत्पादन के प्रशिक्षण हेतु 1 दिन का प्रशिक्षण कार्यक्रम आयोजित किया जाएगा जिसमें 3 प्रशिक्षण कार्यक्रम होंगे प्रति किसान ₹30 तथा प्रति प्रशिक्षण 1500 रुपए व्यय किए जाएंगे।
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मुख्यमंत्री बीज स्वावलंबन योजना की शुरुआत वर्ष 2017 में पायलेट प्रोजेक्ट के रुप में की गई थी।